इंश्योरेंस क्लेम रिजेक्ट क्यों होता है? जानिए मुख्य कारण और समाधान

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इंश्योरेंस क्लेम रिजेक्ट क्यों होता है? जानिए मुख्य कारण और समाधान

इंश्योरेंस क्लेम रिजेक्ट क्यों होता है? जानिए मुख्य कारण और समाधानइंश्योरेंस क्लेम रिजेक्ट क्यों होता है? जानिए मुख्य कारण और समाधान


इंश्योरेंस पॉलिसी लेने का मकसद यही होता है कि ज़रूरत के समय मदद मिल सके। लेकिन जब आप अपनी इंश्योरेंस पॉलिसी पर क्लेम करने की कोशिश करते हैं, तो कभी-कभी इंश्योरेंस कंपनी आपका क्लेम खारिज कर देती है या पूरा भुगतान नहीं करती। ऐसे में यह जानना ज़रूरी है कि आखिर क्लेम रिजेक्ट होने के पीछे क्या कारण हो सकते हैं।

इंश्योरेंस कंपनी आपका क्लेम क्यों रिजेक्ट कर सकती है?

  1. पॉलिसी एक्टिव नहीं थी: जिस घटना के लिए आप क्लेम कर रहे हैं, उस समय पॉलिसी वैध नहीं थी।

  2. गलत जानकारी देना: अगर पॉलिसी लेते समय आपने कोई जरूरी जानकारी छिपाई या गलत जानकारी दी, तो पॉलिसी अमान्य हो सकती है।

  3. पॉलिसी के नियम: कुछ खास चीज़ें पॉलिसी में कवर नहीं होतीं या उसमें एक्सक्लूज़न क्लॉज होता है।

  4. प्रीमियम का भुगतान नहीं करना: अगर आपने प्रीमियम की किस्तें समय पर नहीं दी हैं तो क्लेम रिजेक्ट हो सकता है।

  5. परिस्थितियों में बदलाव की जानकारी नहीं दी: आपने अगर अपनी परिस्थितियों में बदलाव की जानकारी इंश्योरर को नहीं दी है तो क्लेम पर असर पड़ सकता है।

  6. क्लेम प्रक्रिया का पालन नहीं करना: सही तरीके से क्लेम प्रोसेस नहीं फॉलो करने पर भी क्लेम रिजेक्ट हो सकता है।

  7. अत्यधिक क्लेम करना: अगर आपने क्लेम की राशि को बढ़ा-चढ़ाकर बताया है तो कंपनी क्लेम को आंशिक रूप से या पूरी तरह खारिज कर सकती है।

इंश्योरेंस कंपनी को क्लेम रिजेक्ट करने का कारण देना होगा

अगर आपका क्लेम रिजेक्ट किया गया है, तो इंश्योरेंस कंपनी को आपको स्पष्ट कारण बताना होगा। आप अपनी पॉलिसी को ध्यान से पढ़ें और जांचें कि कंपनी का निर्णय सही है या नहीं।

अगर इंश्योरर का फैसला अनुचित लगे तो क्या करें?

  • पहले इंश्योरर से बातचीत कर समाधान निकालने की कोशिश करें।

  • अगर समाधान नहीं निकले, तो कंपनी की शिकायत प्रक्रिया (Complaints Process) का उपयोग करें।

  • अगर फिर भी संतुष्टि न मिले, तो आप बीमा लोकपाल (Insurance Ombudsman) या FCA (Financial Conduct Authority) की मदद ले सकते हैं।

अनइंश्योर्ड लॉसेस और एक्सेस (Excess) का मतलब

  • अनइंश्योर्ड लॉस: कुछ नुकसान आपकी पॉलिसी के तहत कवर नहीं होते। जैसे बिजली चले जाने पर फ्रिज का सामान खराब हो जाए, तो यह नुकसान कवर नहीं हो सकता।

  • एक्सेस: यह वह राशि होती है जो किसी भी क्लेम पर आपको खुद चुकानी होती है, जैसे पहले ₹5,000।

अगर एक्सीडेंट आपकी गलती नहीं थी?

  • अगर कार एक्सीडेंट आपकी गलती नहीं थी और आपने एक्सेस का भुगतान किया है, तो आप यह राशि उस ड्राइवर की इंश्योरेंस कंपनी से वापस मांग सकते हैं, जो गलती में था।

  • कुछ मामलों में आपकी इंश्योरेंस कंपनी या क्रेडिट हायर कंपनी आपके लिए यह क्लेम वापस कर सकती है।

इंश्योरर पूरा पैसा क्यों नहीं देता?

  1. आपने सही क्लेम वैल्यू नहीं बताई (अंडरइंश्योर्ड हैं)

  2. आपने पुरानी चीज़ों के लिए नया रेट मांगा (नई वस्तु की कीमत)

  3. आपकी पॉलिसी में एक लिमिट है

  4. आपने क्लेम के समय कुछ जानकारी छुपाई थी

  5. एक्सेस का भुगतान करना ज़रूरी है

समाधान कैसे पाएं?

अगर आपको लगता है कि आपकी इंश्योरेंस कंपनी सही से भुगतान नहीं कर रही है, तो बातचीत कर समझौता करने की कोशिश करें। अगर बात न बने, तो शिकायत प्रक्रिया का सहारा लें।


🔒 डिस्क्लेमर:

यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। कृपया कोई भी निर्णय लेने से पहले अपनी इंश्योरेंस पॉलिसी को ध्यान से पढ़ें या किसी बीमा सलाहकार से संपर्क करें। लेख में दी गई जानकारी पूरी तरह से सटीक होने की गारंटी नहीं है, और यह किसी कानूनी या वित्तीय सलाह का विकल्प नहीं है।


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